जयपुर. जयपुर लिटरेचर फेस्टिवल की शुरुआत हो चुकी है। शुक्रवार को अपनी किताब पर बात करते हुए गीतकार गुलजार ने कहा- काश मेरी 5 प्रतिशत भी जावेद साहब जितनी याददाश्त मिली होती। आज मुझे बुक देखकर पढ़नी नहीं पढ़ती। उन्होंने कहा- जितनी अंग्रेजी नेशनल भाषा है। वैसे ही हमारी अन्य भाषाएं भी नेशनल है। जिन्हें रीजनल नाम दिया गया है। मराठी, तमिल जैसी भाषाएं भी नेशनल हैं। इन्हें क्लासिकल लेंगवेज का दर्जा मिला हुआ है।
गुलजार ने बताया की उनकी बुक ‘ए पोएम ए डे’ में देश भर के कवियों के अलावा पाकिस्तान, बांग्लादेश, श्रीलंका और नेपाल के कुछ महत्वपूर्ण कवियों की कविताओं से चुनकर बुना गया है। इसमें 365 दिनों के हिसाब से प्रत्येक दिन एक कविता को समर्पित है। इसमें 279 कवियों और 34 भाषाओं के कवि/ कवयित्रियों को यहां शामिल किया है। इसे तैयार करने में 9 साल लगे। इसे भारतीय जुबान में लिखा गया है।

लिटरेचर फेस्टिवल में पहुंचे सचिन पायलट।
गहलोत के कोरोना वाले बयान पर विधायक का पलटवार
मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के बड़े कोरोना वायरस के बयान पर विधायक वेद प्रकाश सोलंकी ने पलटवार किया है। उन्होंने कहा कि अगर कोई कोरोना पार्टी में आ गया है। तो उसका वैक्सीनेशन बहुत जरूरी है। अगर समय पर वैक्सीनेशन नहीं हुआ तो पार्टी को इसका नुकसान उठाना पड़ेगा। वैसे भी हम तो लंबे वक्त से वैक्सीनेशन की ही मांग कर रहे हैं। ऐसे में अब वक्त आ गया है, वैक्सीनेशन समय पर पूरा कर लिया जाए। वेद प्रकाश सोलंकी ने कहा- राजस्थान में अधिकारियों के रिटायर होते ही। उन्हें राजनीतिक नियुक्तियां मिल रही है। लेकिन कांग्रेसी कार्यकर्ता पिछले 4 साल से अपनी बारी का इंतजार कर रहे हैं। अब प्रदेशभर में सचिन पायलट एक बार फिर कार्यकर्ताओं के बीच जा रहे हैं। जहां उन्हें भी कार्यकर्ता इसकी शिकायत कर रहे हैं। यही कारण है कि पायलट साहब ने एक बार फिर कार्यकर्ताओं की आवाज को बुलंद किया है। सोलंकी ने कहा कि कांग्रेस पार्टी में सचिन पायलट ने ही SC और ST वर्ग की आवाज उठाई थी। उसी का नतीजा है कि आज चार मंत्री इस वर्ग से हैं।
पायलट बोले- हमने BJP पर आरोप लगाए, कार्रवाई नहीं की
सचिन पायलट भी लिटरेचर फेस्टिवल में शामिल होने पहुंचे। इस दौरान सचिन पायलट ने कहा- जब हम सरकार में नहीं थे, तब बीजेपी की भ्रष्ट सरकार को लेकर हमने तथ्यों के साथ कई बड़े आरोप लगाए थे। खान घोटाला, 90-B, कालीन घोटाला और ललित मोदी जैसे प्रकरण को लेकर हम दिल्ली तक गए थे। हमने उसको एक्सपोज किया था। हमने कहा था जब हम सरकार में आएंगे। हम इस पर कार्रवाई करेंगे, लेकिन 4 साल का वक्त बीत जाने के बाद भी अब तक हमने इन पर कोई कार्रवाई नहीं की। जबकि हम ने सामूहिक रूप से आरोप लगाए थे। अभी भी एक साल का वक्त है। ऐसे में भ्रष्टाचारियों पर कार्रवाई होनी चाहिए।
पायलट ने कहा- कुछ मुद्दे कभी-कभी कंट्रोवर्शियल हो जाते हैं। जरूरत है, संवाद की एक दूसरे के विचारों को समझने की। कुछ मुद्दों पर असहमति हो सकती है। लेकिन उसे शालीनता से प्रकट करना चाहिए। बातों को सुनना चाहिए, विरोध भी करना चाहिए। लेकिन वह खुले मन और खुले मंच से होनी चाहिए।